Sunday, September 28, 2014

Rakesh Ke Dohe Comments

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१. मेहनत अक्ल से कीजिए, सफलता का यही भेद,
उसमें पानी क्यों भरें, जिस बरतन में छेद ।
२. ईश्वर तेरी कलयुगी दुनिया का कैसा अजब है खेल,
चोर-बेईमान ऐश कर रहे, साधु रहे दुख झेल ।
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Rakesh Sinha
COMMENTS
Ajay Kumar Adarsh 19 August 2016

wakayi aapke dohe kabil-e-tarif hai i luke all but specially- - - - ईश्वर तेरी कलयुगी दुनिया का कैसा अजब है खेल, चोर-बेईमान ऐश कर रहे, साधु रहे दुख झेल ।

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